News written by Priyanka Thakur
हरियाणा की सिंचाई एवं जल संसाधन मंत्री श्रुति चौधरी ने तोशाम खंड के विकास और बाढ़ से संबंधित कार्यों की समीक्षा के लिए चंडीगढ़ में अधिकारियों के साथ अहम बैठक की। बैठक में सिंचाई, जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी और लोक निर्माण विभाग के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे। मंत्री ने स्पष्ट निर्देश दिए कि बाढ़ से निपटने के लिए दीर्घकालिक और प्रभावी समाधान सुनिश्चित किए जाएं, ताकि भविष्य में किसानों और ग्रामीणों को किसी तरह की परेशानी न हो।
बैठक में अधिकारियों ने बताया कि तोशाम क्षेत्र की भौगोलिक स्थिति ऐसी है, जहां बाढ़ के पानी की प्राकृतिक निकासी नहीं है और मुख्य रूप से भिवानी-धम्गर ड्रेन के माध्यम से ही जल निकासी की जाती है। वर्ष 2024 में कोई भी गांव बाढ़ से प्रभावित नहीं हुआ था, लेकिन सितंबर 2025 तक 10 गांवों में 3,525 एकड़ भूमि जलभराव की चपेट में आई थी। सिंचाई विभाग के निरंतर प्रयासों से स्थिति में काफी सुधार हुआ है और अब केवल तीन गांवों में 65 एकड़ भूमि प्रभावित रह गई है, जहां से जल्द ही पानी पूरी तरह निकाल लिया जाएगा।
मंत्री को अवगत कराया गया कि बाढ़ नियंत्रण से जुड़े कार्यों पर करोड़ों रुपये खर्च किए गए हैं। अक्टूबर 2024 से मार्च 2025 तक विभिन्न गांवों में 19.05 करोड़ रुपये और अन्य क्षेत्रों में 36.85 करोड़ रुपये की लागत से कार्य किए गए। लोक स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग ने बताया कि 61 में से 42 विकास कार्य पूरे हो चुके हैं, जबकि शेष कार्य निर्धारित समयसीमा में पूरे किए जाएंगे।
श्रुति चौधरी ने कहा कि सरकार का लक्ष्य है कि बाढ़ प्रबंधन और बुनियादी ढांचे को मजबूत कर क्षेत्र के विकास को नई गति दी जाए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि सभी योजनाएं समय पर और गुणवत्तापूर्ण तरीके से पूरी हों, ताकि आमजन को सीधा लाभ मिल सके।


