चंडीगढ़, 26 दिसंबर:
पंजाब जेल विभाग के लिए वर्ष 2025 सुधार, नवाचार और कैदी सशक्तिकरण का अहम वर्ष रहा है। जेल मंत्री लालजीत सिंह भुल्लर ने वर्ष-अंत उपलब्धि रिपोर्ट जारी करते हुए बताया कि बीते वर्ष के दौरान पंजाब की जेलों को स्वच्छ वातावरण से लेकर उच्च-तकनीकी सुरक्षा तक नए सिरे से परिभाषित किया गया है।
जेल मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार जेलों को केवल बंदीगृह नहीं, बल्कि पुनर्वास और आत्मनिर्भरता के केंद्र के रूप में विकसित करने के लिए प्रतिबद्ध है। तकनीक के माध्यम से सुरक्षा को मजबूत करने और कैदियों को हुनरमंद बनाने के लिए व्यावसायिक प्रशिक्षण को विशेष प्राथमिकता दी गई है।
उन्होंने बताया कि जेलों की सुरक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिए 126 करोड़ रुपये की लागत से एआई आधारित सीसीटीवी, एक्स-रे बैगेज स्कैनर, बॉडी-वॉर्न कैमरे जैसे आधुनिक उपकरणों की खरीद प्रक्रिया जारी है। इसके साथ ही मोबाइल फोन के दुरुपयोग को रोकने के लिए 13 संवेदनशील जेलों में उच्च-ऊर्जा जैमर लगाए जा रहे हैं।
जेल मंत्री ने बताया कि बुनियादी ढांचे के विस्तार के तहत लुधियाना के गोर्शियां कादरबख्श में 100 करोड़ रुपये की लागत से नई उच्च-सुरक्षा जेल का निर्माण किया जा रहा है। वहीं मोहाली में ‘जेल भवन’ मुख्यालय का कार्य भी प्रगति पर है।
कैदियों के पुनर्वास की दिशा में बड़ा कदम उठाते हुए जेलों में कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किए गए हैं। 11 जेलों में आईटीआई कोर्स संचालित किए जा रहे हैं, जिनसे 1016 बंदियों को प्रमाणित प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसके अलावा कैदियों द्वारा संचालित 9 पेट्रोल पंप पहले ही शुरू किए जा चुके हैं और 3 नए पंप शीघ्र शुरू होंगे।


