प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाओं को आधुनिक बनाने, स्वैच्छिक रक्तदान को बढ़ावा देने और ब्लड बैंक सेवाओं की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए निरंतर कार्य कर रही हरियाणा सरकार – नायब सिंह सैनी
स्वैच्छिक रक्तदान के क्षेत्र में हरियाणा बना रहा अपनी अलग पहचान – मुख्यमंत्री
पिछले 11 वर्षों में हरियाणा प्रदेश ने स्वास्थ्य क्षेत्र में दर्ज किए बड़े सुधार
मुख्यमंत्री ने गुरुग्राम में आयोजित आईएसबीटीआई के 50 वें वार्षिक राष्ट्रीय सम्मेलन ‘स्वर्ण जयंती ट्रांसकॉन 2025‘ के उद्घाटन समारोह को किया संबोधित
Priyanka Thakur
– हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि हरियाणा सरकार प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाओं को आधुनिक बनाने, स्वैच्छिक रक्तदान को बढ़ावा देने और ब्लड बैंक सेवाओं की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए लगातार काम कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार यह भी सुनिश्चित कर रही है कि हरियाणा में ब्लड ट्रांसफ्यूजन सेवाओं का उच्चतम मानक बना रहे और प्रत्येक नागरिक को समय पर सुरक्षित रक्त उपलब्ध हो सके।
मुख्यमंत्री शुक्रवार को गुरुग्राम में आयोजित इंडियन सोसाइटी ऑफ ब्लड ट्रांसफ्यूजन एंड इम्यूनो हेमेटोलॉजी (आईएसबीटीआई) के 50वें वार्षिक राष्ट्रीय सम्मेलन, ‘स्वर्ण जयंती ट्रांसकॉन 2025’ के उद्घाटन समारोह को बतौर मुख्यातिथि संबोधित कर रहे थे। कार्यक्रम में सहकारिता, विरासत एवं पर्यटन मंत्री डॉ. अरविंद कुमार शर्मा, पटौदी की विधायक श्रीमती बिमला चौधरी, सोहना के विधायक श्री तेजपाल तंवर तथा गुरुग्राम के विधायक श्री मुकेश शर्मा भी मौजूद रहे।
स्वैच्छिक रक्तदान के क्षेत्र में हरियाणा बना रहा अपनी अलग पहचान
मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि वर्तमान में हरियाणा में कुल 149 ब्लड सेंटर कार्यरत हैं जिनके माध्यम से इस वर्ष 3 लाख 30 हजार यूनिट्स ब्लड एकत्रित करने का लक्ष्य रखा गया है। उन्होंने बताया कि निर्धारित लक्ष्यों के तहत अब तक 2 लाख 22 हजार 433 यूनिट ब्लड एकत्रित किया जा चुका है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा सैनिकों, किसानों और युवाओं की भूमि है। यह हमारे लिए गर्व की बात है कि प्रदेश ने आज वह मुकाम हासिल कर लिया है, जहाँ हरियाणा एक ओर औद्योगिक पहचान के रूप में देशभर में अग्रणी है तो दूसरी ओर स्वैच्छिक रक्तदान के क्षेत्र में भी अब हरियाणा अपनी अलग पहचान बना रहा है।
पिछले 11 वर्षों में हरियाणा प्रदेश ने स्वास्थ्य क्षेत्र में दर्ज किए बड़े सुधार
मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा में स्वास्थ्य सेवाओं का स्तर लगातार बेहतर हो रहा है। पिछले 11 वर्षों में प्रदेश ने स्वास्थ्य क्षेत्र में बड़े सुधार दर्ज किए हैं। उन्होंने बताया कि जहाँ पहले 30 बेड के अस्पताल हुआ करते थे, वहाँ अब 100 बेड की सुविधा उपलब्ध है। इसी प्रकार 100 बेड वाले अस्पतालों को 200 बेड और 200 बेड वाले अस्पतालों को 400 बेड तक विस्तार दिया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार धरातल पर गंभीरता से कार्य कर रही है ताकि प्रदेश के हर नागरिक को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएँ मिल सकें। उन्होंने कहा कि वर्ष 2014 में जहाँ हरियाणा में प्रतिवर्ष केवल 700 डॉक्टर ही तैयार होते थे, वहीं आज यह संख्या बढ़कर 2600 प्रति वर्ष हो गई है। सरकार का लक्ष्य इस संख्या को बढ़ाकर वर्ष 2029 तक 3400 सीटें प्रतिवर्ष तक पहुँचाने का है। इसके लिए प्रदेश के प्रत्येक जिले में मेडिकल कॉलेज स्थापित किए जा रहे हैं, ताकि युवाओं को बेहतर अवसर मिलें और प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं को नई ऊंचाइयां प्राप्त हों।
मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के “फिट इंडिया-हिट इंडिया” नारे का उल्लेख करते हुए कहा कि आज हरियाणा इसी संकल्प के साथ आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि यदि नागरिकों का स्वास्थ्य बेहतर होगा तो प्रदेश की विकास गति भी तीव्र होगी।
आइएच और ब्लड बैंक दोनों की समाज में महत्वपूर्ण भूमिका
मुख्यमंत्री ने कहा कि समय की मांग के अनुसार हमें नेक्स्ट जनरेशन ब्लड टेस्टिंग, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित रक्त मिलान और आर्टिफिशियल ब्लड जैसे अनुसंधानों को प्रोत्साहित करना चाहिए। उन्होंने सुझाव दिया कि डिजिटल हेल्थ मिशन के अंतर्गत ब्लड डोनेशन और ट्रांसफ्यूजन को ट्रैक करने के लिए मोबाइल ऐप और वेब पोर्टल विकसित किए जाने चाहिए। साथ ही, आइएच और ब्लड ट्रांसफ्यूजन से जुड़े तकनीशियनों व डॉक्टरों को उच्च गुणवत्ता का प्रशिक्षण उपलब्ध कराया जाना आवश्यक है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आइएच और ब्लड बैंक स्वास्थ्य क्षेत्र की रीढ़ हैं। इनके माध्यम से लाखों लोगों की जान बचाई जा सकती है। यदि सरकार, स्वास्थ्य संगठनों और समाज का सामूहिक सहयोग मिले तो आने वाले समय में यह क्षेत्र और अधिक सुरक्षित, उन्नत और प्रभावी बन सकता है। उन्होंने कहा कि नियमित रक्तदान, जन-जागरूकता और वैज्ञानिक अनुसंधान इस दिशा में महत्वपूर्ण कदम हैं, जो हरियाणा को ब्लड डोनेशन और ट्रांसफ्यूजन सेवाओं के क्षेत्र में नई ऊँचाइयाँ दिलाएँगे।
गो ग्रीन पहल के तहत हरियाणा सरकार पर्यावरण संरक्षण के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध
मुख्यमंत्री ने ट्रांसकॉन की गो ग्रीन पहल का उल्लेख करते हुए कहा कि हरियाणा सरकार पर्यावरण संरक्षण के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। इसी दिशा में प्रदेश में ‘एक पेड़ माँ के नाम’ अभियान चलाया जा रहा है, जिसकी शुरुआत गत वर्ष विश्व पर्यावरण दिवस पर माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी द्वारा की गई थी। इस अभियान का उद्देश्य है कि हरियाणा के हर कोने को हरा-भरा बनाया जाए। उन्होंने बताया कि इस अभियान के पहले चरण में 1 करोड़ 87 लाख पौधे लगाए गए थे, जबकि दूसरे चरण में 90 लाख पौधे लगाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसके अलावा, इस वर्ष अन्य योजनाओं के अंतर्गत प्रदेश में 1 करोड़ 20 लाख पौधे और लगाए जाएंगे। इस प्रकार कुल मिलाकर प्रदेश में 2 करोड़ 10 लाख पौधे लगाने का लक्ष्य रखा गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि अक्टूबर 2014 से अब तक प्रदेश में लगभग 18 करोड़ पौधे लगाए जा चुके हैं, जो पर्यावरण संरक्षण के प्रति हरियाणा की गंभीरता और संकल्प का प्रतीक है। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर स्वास्थ्य क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले चिकित्सकों को सम्मानित भी किया।
सेवा पखवाड़े के तहत प्रदेशभर में रक्तदान के लिए दिख रहा उत्साह का भाव – डॉ. अरविंद शर्मा
सहकारिता मंत्री डॉ अरविंद शर्मा ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिवस पर शुरू हुए सेवा पखवाड़े के तहत प्रदेशभर में रक्तदान के लिए उत्साह देखा जा रहा है। लोग बढ़-चढ़कर रक्तदान और अंगदान में भाग ले रहे हैं, जिससे समाज में जागरूकता और सेवा भाव की मिसाल स्थापित हो रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी के नेतृत्व में हरियाणा सरकार स्वास्थ्य सेवाओं को लगातार सुदृढ़ बना रही है। प्रदेश के सभी सरकारी अस्पतालों में किडनी पेशेंट के लिए डायलिसिस पूरी तरह नि:शुल्क कर दिया गया है।
डॉ अरविंद शर्मा ने कहा कि प्रदेश सरकार केवल घोषणाओं तक सीमित नहीं रहती, बल्कि संकल्पों को धरातल पर उतारकर पूरा करती है। आज प्रदेश के 45 लाख परिवार आयुष्मान योजना का लाभ उठा रहे हैं। साथ ही सरकार ने एक कदम और आगे बढ़ते हुए 70 वर्ष से अधिक आयु के बुजुर्गों को भी ‘चिरायु योजना’ के तहत आयुष्मान योजना से जोड़ा है, जिससे पात्र लाभार्थियों को बड़ी राहत मिली है।
इस अवसर पर उपायुक्त अजय कुमार, ट्रांसकॉन की चेयरपर्सन डॉ. संगीता पाठक सहित अन्य गणमान्य उपस्थित रहे।
– डॉ अंबेडकर मेधावी छात्रवृत्ति योजना 2025-26 के तहत आवेदन आमंत्रित
– हरियाणा के अनुसूचित जाति व पिछड़ा वर्ग के मेधावी छात्रों को आर्थिक सहायता, 12 हजार रुपये तक मिलेगी छात्रवृत्ति
चंडीगढ़, 19 सितंबर — हरियाणा के सामाजिक न्याय और अधिकारिता, अनुसूचित जाति एवं पिछड़ा वर्ग कल्याण तथा अल्पसंख्यक (सेवा) विभाग द्वारा संचालित डॉ. अंबेडकर मेधावी छात्रवृत्ति संशोधित योजना वर्ष 2025 – 26 के लिए ऑनलाइन आवेदन आमंत्रित किए गए हैं। छात्र – छात्राएं इस योजना का लाभ उठाने हेतु आवेदन पत्र 31 जनवरी 2026 तक पोर्टल https://saralharyana.gov.in/ पर जमा कर सकते हैं।
एक सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि शिक्षा के क्षेत्र में निरंतर बढ़ती प्रतिस्पर्धा के युग में अनुसूचित जाति, पिछड़ा वर्ग, विमुक्त घुमंतु, टपरीवास श्रेणी एवं अन्य वर्ग के मेधावी विद्यार्थियों को अधिक से अधिक आर्थिक सहयोग एवं प्रोत्साहन प्रदान करने के उद्देश्य से यह योजना चलाई जा रही है। इस योजना के तहत पात्र छात्र – छात्राओं को उनकी श्रेणी, कक्षा तथा प्राप्तांक के आधार पर आठ हजार रुपये से 12 हजार रुपये तक की छात्रवृत्ति प्रदान की जाएगी।
उन्होंने बताया कि योजना का लाभ लेने के लिए छात्र – छात्राओं द्वारा पास की गई कक्षा की अंकतालिका, जाति प्रमाण पत्र, हरियाणा का स्थायी निवास प्रमाण पत्र, परिवार पहचान पत्र (फैमिली आईडी), आधार कार्ड, बैंक खाता विवरण, वर्तमान कक्षा का आईडी कार्ड एवं अभिभावक की वार्षिक आय 4 लाख रुपये से कम का प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना अनिवार्य है। यह भी स्पष्ट किया गया है कि निर्धारित तिथि के बाद प्राप्त होने वाले आवेदन पत्रों पर विचार नहीं किया जाएगा। अधिक जानकारी के लिए जिला कल्याण अधिकारी कार्यालय से संपर्क किया जा सकता है।
पर्यावरण, वन प्राणी मंत्री राव नरबीर सिंह ने सेवा पखवाड़ा के अंतर्गत हिसार में किया पौधारोपण
चण्डीगढ़, 19 सितंबर — हरियाणा के पर्यावरण, वन मंत्री राव नरबीर सिंह ने कहा कि पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए कागजी निमंत्रण पत्रों की जगह डिजिटल कार्ड के जरिए निमंत्रण भेजना चाहिए। ऐसा करके हम सभी हर वर्ष बड़ी संख्या में पेड़ों को कटने से बचा कर आने वाली पीढिय़ों को स्वस्थ जीवन की सौगात दे सकते हैं।
राव नरबीर सिंह आज हिसार स्थित बीड़ में सेवा पखवाड़ा के तहत आयोजित पौधारोपण कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर उन्होंने पौधारोपण कर लोगों को पर्यावरण संरक्षण का संदेश भी दिया। इसी कड़ी में यहां 1500 पौधे रोपित किए गए तथा प्रचार वाहनों को भी हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
उन्होंने कहा कि स्वस्थ जीवन जीने के लिए मानव को खाना-पानी तथा हवा की सबसे अधिक आवश्यकता होती है लेकिन यह तीनों चीजों ही लगातार प्रदूषित हो रही हैं। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा पर्यावरण संरक्षण बढ़ावा देने के लिए कई कार्यक्रम शुरू किए हैं।
कैबिनेट मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने एक पेड़ मां के नाम अभियान शुरू किया है। हर व्यक्ति को इस अभियान के तहत अपनी मां के नाम एक पौधा न केवल रोपित करना चाहिए बल्कि उसकी देखभाल भी करनी चाहिए। मां के नाम लगाए गए पौधे के साथ व्यक्ति भावनात्मक रूप से जुड़ाव महसूस करता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में 75 नमोः वन विकसित किए जाएंगे, जिनमें से 3 हिसार जिले में स्थापित किए जाएंगे।
पुलिस अधिकारियों को सामुदायिक सहभागिता मजबूत करने और जन शिकायतों का समाधान करने के निर्देश
चंडीगढ़, 19 सितंबर — हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने आज राज्य भर के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे जन संपर्क प्रयासों को तेज करें तथा नागरिक शिकायतों का त्वरित समाधान सुनिश्चित करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रभावी कानून प्रवर्तन की नींव जनता के विश्वास पर टिकी है। उन्होंने कहा कि कमिश्नर से लेकर डीएसपी तक, हर पुलिस अधिकारी को नागरिकों की चिंताओं से गहराई से जुड़े रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि ग्रामीणों, युवाओं और स्थानीय समुदायों के साथ अधिक संपर्क से नशीली दवाओं के दुरुपयोग और आपराधिक गतिविधियों जैसे मुद्दों से निपटने में मदद मिलेगी।
सामुदायिक उपस्थिति के महत्व पर प्रकाश डालते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि निवासियों के साथ खुला संवाद बनाए रखना और उनकी समस्याओं को सक्रियता से सुनना पुलिस कर्मियों की मुख्य जिम्मेदारी है। उन्होंने नागरिक-अनुकूल पुलिसिंग मॉडल अपनाने का आह्वान किया, जहां त्वरित शिकायत निवारण राज्य में कानून प्रवर्तन कार्यों की रीढ़ बने।
प्रभावी कार्यान्वयन सुनिश्चित करने के लिए गृह विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ. सुमिता मिश्रा ने पुलिस आयुक्तों, महानिरीक्षकों, डीसीपी, पुलिस अधीक्षकों और सहायक आयुक्तों/पुलिस उपाधीक्षकों सहित सभी वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को विस्तृत निर्देश जारी किए हैं।
उन्होंने निर्देशों में अधिकारियों को स्थानीय समुदायों के साथ अपने जुड़ाव को मजबूत करने के लिए गांवों में अनिवार्य रात्रि प्रवास सहित नियमित रूप से क्षेत्र का दौरा करने का आदेश दिया गया है। इसके अतिरिक्त, अन्य सरकारी विभागों से संबंधित किसी भी शिकायत को त्वरित समाधान के लिए उपायुक्तों या संबंधित प्राधिकारियों को तुरंत भेजा जाना चाहिए। अधिकारियों को स्थापित मानक संचालन प्रक्रियाओं के अनुसार हरियाणा मानव संसाधन प्रबंधन प्रणाली (एचआरएमएस) एप्लिकेशन के माध्यम से विस्तृत रात्रि विश्राम रिपोर्ट भी प्रस्तुत करनी होगी।
नागरिक-पुलिस संपर्क को औपचारिक बनाने के लिए सभी अधिकारियों को सार्वजनिक बैठकों के लिए निश्चित कार्यालय समय निर्धारित करना होगा। उन्हें शिकायतें सुनने और उनका पारदर्शी तरीके से समाधान करने के लिए कार्य दिवसों में सुबह 11 बजे से दोपहर 12 बजे तक तथा दोपहर 3 बजे से शाम 4 बजे तक अपने कार्यालयों में उपलब्ध रहना होगा।
उन्होंने बताया कि निगरानी तंत्र को भी मजबूत किया गया है। अधिकारी गृह विभाग को द्वि-साप्ताहिक अनुपालन रिपोर्ट प्रस्तुत करेंगे। यह पहल हरियाणा की अधिक उत्तरदायी और समुदाय-उन्मुख पुलिस व्यवस्था बनाने की प्रतिबद्धता को दर्शाती है, जो नागरिक कल्याण को प्राथमिकता देती है, जवाबदेही को मजबूत करती है, और प्रत्यक्ष सहभागिता के माध्यम से जनता का विश्वास बढ़ाती है।